उपचुनाव में जीत और हार से NDA सरकार के सेहत पर कोई असर नहीं पड़ेगा- आनंद मोहन!

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संवाददाता :- विकास कुमार!

सहरसा में आज गुरुवार को पूर्व संसद आंनद मोहन अपने निज आवास पर प्रेस वार्ता किया जहां उन्होंने चार सीट पर हुए उपचुनाव को लेकर उन्होंने कहा कि इस चुनाव के हार जीत से सरकार के सेहत पर कोई असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं है कि ये चारों सीट यदि एनडीए जीत लेती है तो यह सरकार बना लेगी। एनडीए ऑलरेडी सरकार में है। इसके परिणाम से एनडीए पर कोई असर नही पड़ेगा। लेकिन यह चुनाव 2025 का स्वरूप तय करेगा। उन्होंने कहा कि चार में से तीन सीट तो महागठबंधन का छोड़ा हुआ सीट है। सिर्फ इमामगंज ही एनडीए का था। उन्होंने कहा कि 23 को सब कुछ सामने आ जाएगा।
उन्होंने पीके के बगैर नाम लिए कहा कि सिर्फ आंकड़ेबाजी, राजनीति का मतलब आंकड़ेबाजी नहीं होता है। आंकड़ों से यदि राजनीति होती तो जितने भी लड़के कंप्यूटर पर काम करते हैं, चार्टड अकाउंटेंट सब, आंकड़े जुटाने वाले अभी एमपी- एमएलए होते। सिर्फ पैसों के बल पर भी राजनीति नहीं होती है।
मैने देखा जो किस तरह शिविरों की तरह शहर बसाए गए, पोर्टेबल सुलभ शौचालय, पोर्टेबल शहर घुमाएं जा रहे है। युवाओं को बाइक देकर दैनिक मजदूर की तरह एक राजनीति का नया ट्रेंड बिहार में शुरू किया गया है। बिहार सोशलिस्ट ओर गांधीवादियों का बिहार रहा है। गांधी जी का फोटो लेकर राजनीति के नाम पर प्रदर्शन करना बिहार की राजनीति के लिए शुभ संकेत नहीं है। जो लोग विकल्प का ख्वाब पालते हैं मै कहना चाहता हूं जो विकल्प देने आए थे इस बिहार में। उपेन्द्र कुशवाहा भी निकले थे, पप्पू यादव भी निकले थे, चिराग पासवान भी निकले थे, नागमणि भी निकले थे, ओवेशी भी निकले थे। ये सारे लोग जिनका मैने नाम गिनाया। इनके सामने तो इसमें से कोई ऐसा नहीं होंगे जिनका यह दसवां भी अंश होंगे। राजनीति में, जनाधार में या किसी भी मामले में दशांश हो।

BYTE :- पूर्व सांसद आनंद मोहन।

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