रिपोर्ट- अमित कुमार!
बिहार की बीपीएससी परीक्षा में धांधली को लेकर अब राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। आज पटना के सदाकत आश्रम में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजेश राम ने नीतीश सरकार और बीपीएससी के चेयरमैन पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि बिहार के युवाओं के अधिकारों को कुचला जा रहा है और कांग्रेस अब सड़क से संसद तक इस लड़ाई को लड़ेगी।
बीपीएससी की 70वीं प्रारंभिक परीक्षा में धांधली के आरोपों को लेकर बिहार कांग्रेस ने मोर्चा खोल दिया है।
प्रदेश कांग्रेस कार्यालय, सदाकत आश्रम में आयोजित प्रेस वार्ता में कांग्रेस अध्यक्ष राजेश राम ने कहा:
“बिहार की प्रतिभाओं को दरकिनार कर बाहरियों को बड़े पद दिए जा रहे हैं। बीपीएससी चेयरमैन, जो मूलतः गुजरात के हैं, पर कई गंभीर आरोप हैं और इसके बावजूद उन्हें जिम्मेदारी दी गई। राज्य के विश्वविद्यालय और शैक्षणिक संस्थान बाहरी अधिकारियों से भर दिए गए हैं, जो अब घोटालों के केंद्र बनते जा रहे हैं।”
राजेश राम ने यह भी कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बावजूद कांग्रेस छात्रों की इस लड़ाई में पूरी मजबूती से साथ है। अगर कांग्रेस की सरकार बनी तो बीपीएससी की इस परीक्षा में हुई धांधली की जांच कराई जाएगी।
युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष शिव प्रकाश गरीब दास ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर प्रतिक्रिया दी:
बाइट – शिव प्रकाश गरीब दास, अध्यक्ष, युवा कांग्रेस:
“हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान करते हैं, लेकिन सच्चाई यह है कि परीक्षा में स्पष्ट धांधली हुई है। हम अदालत से लेकर जनता तक, हर मंच पर छात्रों की आवाज़ बनेंगे।”
कांग्रेस का आरोप है कि एक ही परीक्षा के दो सेट्स और चयन दरों में असंतुलन भारतीय संविधान के अनुच्छेद 14 और 16 का उल्लंघन है।
इस अवसर पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राजेश राठौड़, डॉ. संजय यादव और सौरभ सिंहा समेत कई अन्य नेता भी मौजूद थे।
बीपीएससी परीक्षा को लेकर कांग्रेस का यह आक्रामक रुख नीतीश सरकार पर दबाव बढ़ा सकता है। अब देखना होगा कि विपक्ष के इस हमले पर सरकार क्या जवाब देती है।