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भटकती आत्माओं की मुक्ति मार्ग प्रशस्त करने के लिए सामूहिक पिंडदान का आयोजन!

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रिपोर्ट: अभिषेक कुमार

गया। पूरी दुनिया में वैश्विक महामारी कोरोनावायरस से हुई मौत के बाद भटकती आत्माओं की मुक्ति मार्ग प्रशस्त करने के लिए आज मोक्ष धाम गयाजी के अंतः सलीला फल्गु नदी के तट पर सामूहिक पिंडदान कर उनकी आत्मा की शांति और मुक्ति के लिए मार्ग प्रशस्त की। गया पाल पंडा मुक्तिधाम गया जी के देवघाट विष्णुपद मंदिर के निकट पूरे कर्मकांड और अनुष्ठान के साथ तर्पण और पिंडदान का कार्य गया जी के पंडा समाज और स्थानीय समाजसेवियों द्वारा मंत्रोच्चार धर्म ध्वनि के साथ हुआ।

इस पिंडदान के आयोजन को लेकर लोगो ने बताया कि इस साल कोरोना के कारण बड़ी संख्या में लोगों की मौत हुई है। लेकिन कई ऐसे परिवार रहे हैं, जिनके घर में सही तरीके से अंतिम संस्कार नहीं किया गया, इस सामूहिक पिंडदान से उन सभी की आत्मा की शांति के लिए पूजा किया गया है। कोरोना के कारण कई बार यह देखा गया कि कई लोग ऐसे रहे हैं जिन्होंने अपने परिवार के सदस्यों के मरने के बाद उनके क्रिया कर्म नहीं किया है। आज देश में उस सभी परिवारो के नाम पर पिंडदान का आयोजन किया गया। हर साल ज्ञान एवं मोक्ष की नगरी गया जी मे पितृपक्ष मेला लगता है, जिसमें देश- विदेश से बड़ी संख्या में लोग अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान करने आते हैं। मान्यता है कि फल्गू में पिंडदान करने से मृतक की आत्मा को शांति मिलती है। श्री शिवानंद सत्संकल्प फाउंडेशन द्वारा श्री जी मनोहर लाल प्रमुख संरक्षक आंध्र तेलंगाना भवन एवं परम गुरु सतगुरु श्री कंदुकुरी शिवानंद मूर्ति जी के तत्वावधान में सामूहिक पिंडदान का आयोजन किया गया है।

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