मयूंराक्षी नदी के नोरंगी एवं रागडीह बालू घाटों से नियमित रूप से किया जा रहा है बालू का अवैध कारोबार

SHARE:

गौतम चटर्जी की रिपोर्ट

अंचलकर्मियो के मिलीभगत से पश्चिम बंगाल के पट्टाधारी कर रहे हैं बालू का उत्खनन एवं परिवहन

इस अवैध कारोबार में स्थानीय बालू तस्कर,त्रिस्तरीय पंचायत के प्रतिनिधि एवं दोनों गांवों के ग्राम सभा के अध्यक्ष संलिप्त

रानीश्वर(दुमका)

मयूराक्षी नदी के नोरंगी एवं रागडीह बालू घाट से पश्चिम बंगाल अन्तर्गत बीरभूम जिला के पट्टाधारी नियमित रूप से बालू का अवैध रूप से उठाव कर रहे है । अंचल अधिकारी अतुल रंजन भगत ने मंगलवार को एक प्राइवेट अमीन मोहम्मद हसनैन जाफर खान के माध्यम से बालू घाटों का सीमांकन कराया है|पश्चिम बंगाल के लतापोखर, नांगुलिया -सात एवं आठ नंबर घाट के पट्टाधारी योगेंद्र तिबारी ,कमल खान एवं मंसूर अली संलग्न नोरंगी एवं रागडीह मौज़ा से बिना रोक टोक के बालू का उठाव कर तस्करी कर रहे हैं ।बालू तस्कर रानीश्वर थाना क्षेत्र के दोनों घाटों पर पोकलेन मशीन लगाकर करोड़ो के खनन राजस्व की चोरी कर रहे है ।इस अबैध कारोबर में स्थानीय बालू तस्कर ,त्रिस्तर पंचायत के प्रतिनिधि एवं दोनों गांवों के ग्राम सभा के अध्यक्ष संलिप्त है ।मामला प्रकश में आने पर अंचल कार्यालय से जमीन को भेजकर सीमांकन हेतु नापी भी कराया जाता है|प्रशासनिक सख्ती पर कुछ दिनों तक पश्चिम बंगाल के लेशी बालू उठाव बंद कर देते है, लेकिन पुनः बालू तस्करी शुरू कर देते है ।वर्तमान अंचल अधिकारी अतुल रंजन भगत के कार्यकाल में यहां नदी घाटों का सीमांकन हेतु कई बार नापी कराया गया है ।पिछले साल जिला खनन पदाधिकारी दिलीप तांती ने स्थानीय अंचल अधिकारी एवं थाना प्रभारी के उपस्थिति में प्राइवेट अमीन मोहम्मद हसनैन जाफर खान, राजस्व कर्मचारी एवं अंचल निरीक्षक के माध्यम से दोनों बालू घाट की नापी करायी थी। परन्तु आज तक यहां बालू के अवैध उठाव पर रोक लगाने की कारगर पहल नही की जा सकी है ।नाम नही छापने की शर्त पर नोरंगी एवं रागडीह के कई लोगो ने बताया कि यहां के बालू घाटों से बालू का अवैध उठाव अंचल कार्यालय के कर्मचारियों के मिली भगत से होता है ।

Join us on:

Leave a Comment