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माँ का अपमान नहीं सहेगा बिहार : लखीसराय में बिहार बंद रहा पूरी तरह सफल
एनडीए के आह्वान पर सुबह 7 से दोपहर 12 बजे तक बाजार बंद, शांतिपूर्ण और लोकतांत्रिक तरीके से दर्ज हुआ विरोध
जिलाध्यक्ष दीपक कुमार, रामानंद मंडल, सनोज साहू, अजय कुशवाहा, शिवशंकर राम और आशा पासवान ने दिए कड़े बयान
लखीसराय। माँ का अपमान बिहार बंद के तत्वावधान में आयोजित बिहार बंद को लेकर लखीसराय, सूर्यगढ़ा, बड़हिया, तेतरहाट, कजरा, अभयपुर एवं हलसी सहित जिले के सभी प्रमुख बाजार सुबह 07 बजे से दोपहर 12 बजे तक पूर्णतः बंद रहे।
भाजपा जिलाध्यक्ष श्री दीपक कुमार ने कहा कि “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की माताश्री के अपमान से आहत बिहार की जनता ने आज यह सिद्ध कर दिया है कि मातृशक्ति का सम्मान हमारे लिए सर्वोपरि है। यह बंद जनता का आत्मिक आह्वान है और इसका संदेश है कि अपमान किसी भी रूप में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।”
उन्होंने यह भी आश्वस्त किया कि बंद के दौरान अत्यावश्यक कार्य एवं आपातकालीन सेवाएँ यथावत बहाल रहीं।
जदयू जिलाध्यक्ष श्री रामानंद मंडल ने अपने संबोधन में कहा कि “यह बंद केवल एनडीए का नहीं बल्कि बिहार की माँ-बहनों के सम्मान का आंदोलन है। महागठबंधन नेताओं की अपमानजनक भाषा ने समाज की संवेदनाओं को आहत किया है। जनता ने आज एकजुट होकर यह दिखा दिया कि हम माँ की गरिमा और अस्मिता के लिए हमेशा खड़े रहेंगे।”
भाजपा जिला महामंत्री श्री सनोज साहू ने कहा कि “आज का बिहार बंद एनडीए की एकजुटता और जनता के सहयोग का प्रतीक है। कांग्रेस और राजद नेताओं ने जिस प्रकार प्रधानमंत्री जी की माता पर अमर्यादित टिप्पणी की है, वह निंदनीय ही नहीं बल्कि सामाजिक मर्यादाओं पर भी हमला है। जनता ने इसे करारा जवाब दिया है।”
भाजपा मीडिया प्रभारी श्री अजय कुशवाहा ने कहा कि “एनडीए का यह आंदोलन पूरी तरह शांतिपूर्ण और लोकतांत्रिक रहा। हमारे कार्यकर्ताओं ने जनता से कंधे से कंधा मिलाकर मातृशक्ति के सम्मान की लड़ाई लड़ी। यह बंद साबित करता है कि लखीसराय की जनता किसी भी अपमानजनक टिप्पणी को कभी बर्दाश्त नहीं करेगी।”
जदयू नेता एवं नगर परिषद उपाध्यक्ष श्री शिवशंकर राम ने कहा कि “प्रधानमंत्री जी की माता पर की गई अभद्र टिप्पणी पूरे बिहार की मातृशक्ति का अपमान है। यह आंदोलन हमारी सामाजिक संस्कृति और नैतिक मूल्यों की रक्षा के लिए है। लखीसराय की जनता ने दिखा दिया है कि यहाँ माँ-बहनों का सम्मान सर्वोच्च है।”
महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष श्रीमती आशा पासवान ने कहा कि “महागठबंधन नेताओं द्वारा दिया गया आपत्तिजनक बयान हर महिला का अपमान है। हम महिलाएँ किसी भी स्थिति में ऐसी भाषा को स्वीकार नहीं कर सकतीं। आज बिहार बंद में महिलाओं की भागीदारी ने यह साबित कर दिया है कि मातृशक्ति का अपमान किसी भी कीमत पर सहन नहीं किया जाएगा।”
एनडीए ने स्पष्ट किया कि यह विरोध पूरी तरह लोकतांत्रिक एवं शांतिपूर्ण तरीके से किया गया।
जिलेभर में विरोध प्रदर्शन
विद्यापीठ चौक : भाजपा जिलाध्यक्ष दीपक कुमार, पूर्व जिलाध्यक्ष देवानंद साहू, जिला महामंत्री सनोज साहू, मीडिया प्रभारी अजय कुशवाहा, जिला मंत्री हिमांशु पटेल, अभिषेक सिंह, नगर अध्यक्ष मुकुल सिंह, जदयू नेता एवं नगर परिषद उपाध्यक्ष शिव शंकर राम, कमल किशोर सिंह, मौसम पटेल के नेतृत्व में विरोध दर्ज किया गया।
शहीद द्वार : जदयू जिलाध्यक्ष रामानंद मंडल, ओबीसी मोर्चा अध्यक्ष विकास आनंद, महिला मोर्चा अध्यक्षा आशा पासवान, ओबीसी मोर्चा प्रभारी घनश्याम मंडल व उपाध्यक्ष गौतम मंडल सहित सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने मोर्चा संभाला।
जमुई मोड़ एवं समाहरणालय चौक : जिला प्रभारी संजय सिंह एवं मंडल अध्यक्ष राजेश कुमार के नेतृत्व में चक्का जाम किया गया और महागठबंधन के विरोध में नारे लगाए गए।
सभी एनडीए के घटक दलों के मंडल अध्यक्षों ने अपने-अपने क्षेत्रों में व्यापक विरोध प्रदर्शन किया और महागठबंधन के खिलाफ जनता की आवाज को बुलंद किया।
सफल रहा बिहार बंद
इस प्रकार, “माँ के अपमान” के विरोध में लखीसराय जिले का बिहार बंद पूरी तरह सफल रहा। जनता जनार्दन का भरपूर सहयोग मिला और आवश्यक सेवाएँ निर्बाध जारी रहीं।