रिपोर्टर — राजीव कुमार झा
मानव जीवन का विकास मार्क्सवाद के सिद्धांतों से ही परिवर्तन – बादल सरोज
मानवता की असली बिमारी पूंजीपतियों का विचारधारा – माकपा
मेहनतकश भूखे हैं पूंजीवादियों और दलाल मंत्री बने हुए बैठे हैं
भारत की कम्यूनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) का दो दिवसीय प्रशिक्षण शिविर बिस्फी प्रखंड मुख्यालय स्थित कामरेड भोगेंद्र यादव सद्भावना हॉल में आयोजित हुई, कार्यक्रम के प्रारंभ मे बिस्फी प्रखंड मुख्यालय अवस्थित डॉक्टर भीमराव अंबेडकर प्रतिमा पर पार्टी नेताओं ने माल्यार्पण किया एवं शहीद बेदी पर नेताओं ने पुष्पांजलि अर्पित किया। भोगेंद्र यादव सद्भावना हॉल में सीपीएम केंद्रीय कमिटी सदस्य, प्रसिद्ध मार्क्सवादी शिक्षाविद् कॉमरेड बादल सरोज और सीपीएम राज्य सचिव ललन चौधरी को पाग माला, मिथिला पेंटिंग से स्वागत समिति के अध्यक्ष, बिस्फी प्रखंड के पूर्व प्रमुख निवर्तमान पंचायत समिति सदस्य शीला देवी ने सम्मानित किया। प्रशिक्षण शिविर के दौरान सद्भावना हॉल में सबसे पहले अहमदाबाद में विमान दुर्घटना में मारे गए लोगों के लिए 2 मिनट का मोन धारन कर शोक व्यक्त किया गया। प्रशिक्षण शत्र का उद्घाटन सीपीएम के राज्य सचिव ललन चौधरी ने किया। केन्द्रीय कमिटी सदस्य, प्रसिद्ध मार्क्सवादी चिंतक बादल सरोज ने प्रथम शत्र में प्रशिक्षण शिविर को संबोधित करते हुए कहा कि शोषणविहीन समाज को बनाना मार्क्सवाद के सिद्धांतों से ही सम्भव है, बैज्ञानिक सोच के साथ समाज में आमूलचूल बदलाव ही मार्क्सवाद है , मनुष्य के द्वारा मनुष्य का शोषण नहीं किया जा सके, तथ्य और तर्क पर आधारित जनता के जनवादी आंदोलनों के धार से हम जनक्रांति ला सके तभी हम समाज को परिवर्तन की दिशा दे सकते हैं, पूंजीपतियों का विनाश हम जनता को गोलबंद करके ही कर सकते हैं, पूंजीवादियों के विचारधारा से अमीर और अमीर होता जाएगा और गरीब और गरीब होता जा रहा है, झूठ बोलने वाले सत्ता में है, मेहनतकश भूखे हैं, पूंजीपति और दलाल मंत्री बन जाते हैं, पूंजीवादियों के दौर में इमानदारी उपहास बन गई है,जाति, धर्म, भाषा के नाम पर समाज को तोड़ा जा रहा है,सहना गुनाह है, लड़ना जरूरी है और संघर्ष, लड़ाई का नाम है कम्युनिज्म अर्थात साम्यवाद। मानवता का असली बिमारी पूंजीपति है , मानव जीवन का विकास मार्क्सवाद से ही सम्भव है।आम जनता से जिवंत संबंध बनाएं रखने की जरूरत है। आगे उन्होंने आर एस एस देश को धार्मिक आधार पर विभाजनकारी विचारधारा के खिलाफ सांगठनिक स्तर पर संघर्ष तेज करने का आह्वान किया, उन्होंने पार्टी संविधान और कार्यक्रम पर विस्तार से जानकारी दी, उन्होंने बताया कि युवाओं और महिलाओं की संख्या में काफी वृद्धि हुई है,देश में नफरत की राजनीति बेहद ख़तरनाक है, इसको कुचलने की आवश्यकता है,देश की संपदा को औने-पौने दामों में बेचा जा रहा है, दुनिया में सबसे ज्यादा बेरोजगारी भारत में है, सरकार झूठ फरेब करके सत्ता में बने रहना चाहते हैं, महंगाई आसमान छू रहा है,देश के किसान मजदूर नौजवानों की हालात बेहद खराब है, किसान ऋण के बोझ तले आत्महत्या करने को विवश है, सामाजिक, राजनीतिक और आर्थिक विषमता को वर्ग संघर्ष आंदोलन चलाकर ही साम्यवाद आ सकता है, उन्होंने कहा कि पूंजीवादी व्यवस्था स्वाभाविक रूप से विनाशकारी है। उन्होंने महाकवि विद्यापति के धरती पर प्रशिक्षण शत्र लगाने पर खुशी जाहिर किए। प्रशिक्षण शिविर में सीपीएम जिला सचिव मनोज कुमार यादव भी मौजूद थे।सीपीएम जिला सचिव मंडल सदस्य रामजी यादव,सीपीएम जिला सचिव मंडल सदस्य दिलीप झा, सीपीएम जिला सचिव मंडल सदस्य राम लखन यादव ने संयुक्त रूप से अध्यक्षता किए।सीपीएम जिला सचिव मंडल सदस्य शशिभूषण प्रसाद, सत्यनारायण यादव,स्वागत समिति के अध्यक्ष बिस्फी प्रखंड के पूर्व प्रमुख, निवर्तमान पंचायत समिति सदस्य शीला देवी,स्वागत समिति के सचिव बाबूलाल महतो, कोषाध्यक्ष बिन्दु यादव सहित सीपीएम जिला कमिटि सदस्य राम नारायण यादव, विजय पासवान, ललित कुशवाहा,सोनधारी यादव, राणा प्रताप सिंह, राजेन्द्र यादव, सहित पार्टी के कई नेता मौजूद थे।